रूस में वैगनर की बगावत में था पुतिन के करीबी जनरल का हाथ!

रूस में जनरल सर्गेई सुरोविकिन के गिरफ्तार होने की खबरें हैं। जनरल आर्मागेडन के नाम से मशहूर सुरोविकिन की गिरफ्तारी पर अभी तक रूस के रक्षा मंत्रालय की तरफ से अभी कोई बयान नहीं आया है। लेकिन मॉस्‍को टाइम्‍स ने मंत्रालय के दो करीबी सूत्रों के हवाले से इस बात की पुष्टि की है। शनिवार को जब वैगनर चीफ येवेगनी प्रिगोझिन की तरफ से राष्‍ट्रपति व्‍लादिमीर पुतिन के खिलाफ विद्रोह हुआ तब से ही सुरोविकिन के गायब होने की खबरें हैं। जनरल सुरोविकिन को पिछले साल यूक्रेन युद्ध में पुतिन ने नया आर्मी कमांडर बनाया था। उस समय इस नियुक्ति को पुतिन की नई रणनीति बताया गया था।

परिवार से भी संपर्क में नहीं एक करीबी सूत्र ने कहा, ‘जनरल सुरोविकिन के साथ स्थिति ठीक नहीं है। मैं इससे ज्‍यादा और कुछ नहीं कह सकता।’ जबकि एक और सूत्र ने बताया कि गिरफ्तारी प्राइगोझिन के संदर्भ में की गई है। सूत्रों का कहना है कि जाहिर तौर पर जनरल सुरोविकिन ने विद्रोह के दौरान प्रिगोझिन को चुना और उसे पकड़ लिया गया है। जब जनरल के वर्तमान ठिकाने के बारे में पूछा गया, तो सूत्र का जवाब था, ‘हम अपने आंतरिक चैनलों के जरिए से भी इस जानकारी पर टिप्‍पणी नहीं कर सकते हैं।’

मिलिट्री ब्‍लॉगर ने दी जानकारी

इससे पहले बुधवार को मिलिट्री ब्लॉगर व्लादिमीर रोमानोव ने जानकारी दी थी कि सुरोविकिन को प्रिगोझिन के विद्रोह के अगले दिन ही हिरासत में लिया गया था। रोमानोव, यूक्रेन की जंग के बड़े समर्थक हैं। उन्‍होंने दावा किया था कि सुरोविकिन को अब मॉस्को के लेफोर्टोवो हिरासत केंद्र में रखा गया है। एको मोस्किवी रेडियो स्टेशन के चीफ एडिटर एलेक्सी वेनेडिक्टोव ने भी टेलीग्राम पर लिखा कि सुरोविकिन तीन दिनों से अपने परिवार के संपर्क में नहीं हैं। साथ ही उनके गार्ड भी कोई प्रतिक्रिया नहीं दे रहे हैं।

न्‍यूयॉर्क टाइम्‍स का दावा

अमेरिकी अखबार न्यूयॉर्क टाइम्स ने अज्ञात अमेरिकी अधिकारियों का हवाला देते हुए मंगलवार को बताया कि सुरोविकिन को रूस के सैन्य नेतृत्व के खिलाफ विद्रोह भड़काने की प्रिगोझिन की योजना के बारे में पहले से जानकारी थी। हालांकि क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने बुधवार को उस रिपोर्ट को ‘अटकलें’ और ‘गॉसिप’ बताते हुए खारिज कर दिया। अखबार में कहा गया था कि पुतिन ने रूसी सेना के टॉप ऑफिसर्स के ट्रांसफर के लिए प्रिगोझिन की मांगों को नहीं माना था।

पुतिन की सबसे बड़ी चुनौती

वैगनर विद्रोह ने दशकों में राष्‍ट्रपति पुतिन के सामने सबसे बड़ी चुनौती और रूस के सामने सबसे गंभीर सुरक्षा संकट को जन्म दिया था। बेलारूस के राष्‍ट्रपति अलेक्जेंडर लुकाशेंको की तरफ से मध्‍यस्‍था के बाद मामला शांत हो सका था। मध्यस्थता के तहत हुए समझौते में निर्वासन के तौर पर बेलारूस में प्रिगोझिन का स्‍वागत करने की बात पर रजामंदी बनी थी। सुरोविकिन ने अक्टूबर 2022 और जनवरी 2023 के बीच तीन महीने के लिए यूक्रेन में रूस की सेना की कमान संभाली थी। इसके बाद पुतिन ने चीफ जनरल स्टाफ खवालेरी गेरासिमोव को इस युद्ध का जिम्‍मा सौंप दिया था।